उत्तराखंड

आज करे पित्रो की शांति के लिए करें ये उपाय

देहरादून,
अमावस्या माह में एक बार ही आती है। अमावस्या तिथि के स्वामी पितृदेव है। पौष कृष्ण पक्ष अमावस्या इस वर्ष सन् 2024 ई. 11 जनवरी गुरूवार को पड़ रही है। पौष अमावस्या के विषय में श्री कैलख ज्योतिष एवं वैदिक संस्थान ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत रोहित शास्त्री ज्योतिषाचार्य ने बताया कि पौष कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि 10 जनवरी बुधवार को शाम 08 बजकर 11 पर प्रारंभ हो रही है और इसका समापन अगले दिन यानी 11 जनवरी गुरूवार शाम 05 बजकर 27 मिनट होगा। सूर्योदय व्यापिनी पौष कृष्ण पक्ष अमावस्या तिथि 11 जनवरी गुरूवार को है, इसलिए पौष अमावस्या 11 जनवरी गुरूवार को ही होगी। इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करने का विशेष महत्व है अगर किसी कारण के चलते आप गंगा आदि पवित्र नदियों में स्नान नहीं कर सकते हो तो घर में ही पानी में गंगाजल डाल कर स्नान अवश्य करें,ऐसा करने से गंगा स्नान का पूरा फल मिलता है।

अमावस्या पर करे ये उपाय-

अमावस्या पर पितरों की शांति के लिए उपवास रखने से न केवल पितृगण बल्कि ब्रह्मा, इंद्र, सूर्य, अग्नि, वायु, ऋषि, पशु-पक्षी समेत भूत प्राणी भी तृप्त होकर प्रसन्न होते हैं।

तिल, दूध और तिल से बनी मिठाइयों का दान दरिद्रता मिटाने वाला है।

प्रत्येक अमावस्या के दिन अपने पितरों का ध्यान करें। ध्यान के साथ पीपल के पेड़ पर कच्ची लस्सी, थोड़ा गंगाजल, काले तिल, चीनी, चावल, जल तथा पुष्प अर्पित करें। इस क्रिया को करते समय ‘ॐ पितृभ्य: नम:’ मंत्र का जाप करें। उसके बाद पितृसूक्त का पाठ करना शुभ फल प्रदान करता है।
अमावस्या के दिन सूर्य देव को ताम्र बर्तन में लाल चंदन, गंगा जल और शुद्ध जल मिलाकर 3 बार अर्घ्य दें। अर्घ्य देते समय ‘ॐ पितृभ्य: नम:’ का बीज मंत्र का जाप करें।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button